भाषा किसे कहते हैं? | Bhasha kise kahate hain

भाषा किसे कहते हैं?: किताबें पढ़ने का शौक किसे नहीं होता और इस शौक को पूरा करने के लिए जब आप किसी बुकस्टाल पर जाते है तो वहां आपको कई भाषाओं में लिखी किताबें नजर आती है। अब प्रश्न यह है कि Bhasha kise kahate hain और यह कितने प्रकार की होती है। तो आइये इस लेख के द्वारा आपके मन में उठ रहे इन सभी प्रश्नों के जवाब जानने की कोशिश करेंगे और आपको यह भी बताएंगे कि हिंदी साहित्य में भाषा का क्या महत्व है तो चलिए इस खास जानकारी को पढ़ना प्रारम्भ करते है।

भाषा किसे कहते हैं? | Bhasha kise kahate hain

भाषा एक ऐसा साधन है, जिसे एक व्यक्ति बोलकर, लिखकर और इशारों के द्वारा विचारो का आदान – प्रदान कर सके। सरल शब्दों में कहा जाये तो हर व्यक्ति अपने मन के भावो का व्यक्त करने के लिए भाषा का प्रयोग करता है, अंग्रेजी में भाषा को language भी कहा जाता है। 

भाषा के प्रकार

भाषा तीन प्रकार की होती है इनके बारे में कुछ इस प्रकार जानकारी दी गयी है। 

1 – मौखिक भाषा 

मौखिक भाषा का तात्पर्य हमारी बोलचाल अर्थात बोली से है जब एक व्यक्ति दूसरे व्यक्ति से बातों के द्वारा अपने भावो को व्यक्त करता है तो उसे मौखिक भाषा कहा जाता है अंग्रेजी में इस प्रकार की भाषा को oral language कहते है। 

उदाहरण – फ़ोन पर बात करना, भाषण देना, भजन करना आदि। 

विशेषता – मौखिक भाषा के लिए वक्ता और श्रोता दोनों का होना आवश्यक है।   

2 – लिखित भाषा 

जब एक व्यक्ति अपने विचारो को लिखकर व्यक्त करता है तो उसे लिखित भाषा कहा जाता है। और अंग्रेजी में लिखित भाषा को written language के नाम से जानते है।

उदाहरण – मैसेज लिखना, समाचार पत्र पढ़ना, किताब पढ़ना आदि।

विशेषता – यह भाषा का स्थाई और गौण रूप है। 

3 – सांकेतिक भाषा 

जब एक व्यकित इशारो के द्वारा अपनी बात को किसी दूसरे व्यक्ति तक पहुँचाता है तो इसे सांकेतिक भाषा कहा जाता है, अंग्रेजी में इस भाषा को symbolic language कहा जाता है। 

उदाहरण – मूक बधिर व्यक्ति को हाथो के इशारे से बात समझाना। 

भाषा का महत्व 

जैसा कि आप जानते होंगे कि मनुष्य को इस धरती पर रहने के लिए अपने आस पास की चीजों को जानने और समझने के लिए किताबी ज्ञान से लेकर व्यावहारिक ज्ञान को जानने की आवश्कता होती है लेकिन यह तभी संभव है जब आप भाषा के माध्यम से अपने भावों को पढ़कर लिखकर और सुनकर समझने के प्रयास करते है। भाषा के बिना किसी भी भाव को समझने में असुविधा हो सकती है इसलिए भाषा का ज्ञान हर व्यक्ति को आना चाहिए। 

क्या बोली ही भाषा है?

bhasha kise kahate hain इसे तो आप अच्छी तरह समझ गए होंगे लेकिन क्या आपको पता है कि बोली और भाषा में कुछ अंतर होते है तो आइये इस अंतर को समझने का प्रयास करते है। 

बोली – एक छोटे क्षेत्र में बोली जाने वाली भाषा ही बोली है। 

भाषा – जब कोई बोली कई लोगो द्वारा बोली जाती है या लिखी जाती है अर्थात समाज में कुछ बोलियों को लिखने, बोलने और सुनने का प्रचलन अधिक रहता है तो यही बोलियाँ भाषा के रूप में जानी जाती है। 

हिन्दी भाषा 

अगर आपको नहीं पता कि hindi bhasha kise kahate hain तो आपको बता दूँ कि विश्व में तीसरी सबसे अधिक बोली जाने वाली भाषा हिंदी है इस भाषा के अंतर्गत 5 उप भाषाएँ और 17 बोलियां शामिल है। भारत में हिंदी भाषा का क्षेत्र काफी व्यापक है यह उत्तरप्रदेश, मध्य प्रदेश, हिमाचल प्रदेश, दिल्ली, महाराष्ट्र, बंगाल, बिहार, झारखण्ड आदि क्षेत्रों में प्रमुखता के साथ बोली जाती है।

हिंदी भाषा की उत्पत्ति कैसे हुई?

भारत में हिंदी शब्द की उत्पत्ति के सन्दर्भ में यह जानकारी बताई जाती है, कि सिंधु नदी के पूर्वीय तटीय इलाको में लोगों को हिन्दू कहा जाता था और उनकी बोली भाषा को हिंदी कहते थे, इसी प्रकार भारत में hindi bhasha का विस्तार हो सका। 

हिंदी की कुछ उपभाषाएँ

भारत में हिंदी के अलावा इसे मिली जुली भाषाएँ भी बोली जाती है जिन्हें हम उप भाषाएँ भी कहते है तो आइये इनके बारे में कुछ जानकारी बताते है।

ब्रजभाषा – ब्रजभाषा उत्तर प्रदेश के मथुरा, आगरा, अलीगढ, मैनपुरी, एटा, बदायूं, बरेली आदि जिलों में प्रमुखता के साथ बोली जाती है, साहित्य रचना में इस बोली का काफी सुंदरता के साथ प्रयोग किया गया है। 

अवधी – उत्तर प्रदेश में लखनऊ, इलाहाबाद, फतेहपुर, मिर्जापुर, फैजाबाद, सीतापुर जिलों में अवधी भाषा का प्रयोग किया जाता है।    

भोजपुरी – भोजपुरी भाषा का प्रचलन उत्तर प्रदेश के पूर्वी जिले, बिहार, झारखण्ड आदि जगहों पर काफी देखने को मिलता है।   

मैथिली – maithili bhasha का प्रयोग बिहार के दरभंगा, मधुबनी, मुज्जफरपुर, पूर्णिया जिले में देखने को मिलता है, हिंदी साहित्य में इस भाषा को काफी अहम् साहित्य स्थान दिया गया है।  

भारत की प्रमुख भाषाएँ और उनकी लिपि

क्र सं भाषा लिपि 
पंजाबी गुरुमुखी 
सिंधी देवनागरी/ फ़ारसी 
कश्मीरी फ़ारसी 
गुजराती गुजराती 
मराठी देवनागरी 
उड़िया उड़िया 
7  बांग्ला बांग्ला 
असमिया असमिया 
उर्दू फ़ारसी 
10 तमिल ब्राह्मी 
11 तेलगु ब्राह्मी 
12 मलयालम ब्राह्मी 
13 हिंदी देवनागरी 
14 कन्नड़ कन्नड़ / ब्राह्मी 
15 कोकड़ी देवनागरी 
16 संस्कृत देवनागरी 
17 नेपाली देवनागरी 
18 संथाली देवनागरी 
19 डोगरी देवनागरी 
20 मणिपुरी मणिपुरी 
21 वोडो देवनागरी 
22 मैथिली देवनागरी 

FAQ 

भाषा किसे कहते हैं?

भाषा एक ऐसा साधन है, जिसे एक व्यक्ति बोलकर, लिखकर और इशारों के द्वारा अपने विचारो को किसी दूसरे व्यक्ति तक पहुंचा सके

भाषा कितने प्रकार की होती है ? 

भाषा मुख्य रूप से तीन प्रकार की होती है. – लिखित भाषा, मौखिक भाषा, सांकेतिक भाषा।  

भाषा का महत्व बताइये ? 

भाषा के बिना किसी भी भाव या ज्ञान को समझ पाने में काफी असुविधा हो सकती है इसलिए हर व्यक्ति के लिए यह बहुत ही आवश्यक है। 

हिंदी भाषा में कितने प्रकार की बोलियां और भाषाएँ शामिल है ? 

हिंदी भाषा के अंतर्गत 5 उप भाषाएँ और 17 बोलियां शामिल है। 

दुनिया में कुल कितने प्रकार की भाषाएँ बोली जाती है ? 

दुनिया में कुल 6500 से अधिक प्रकार की भाषाएँ बोली जाती है। 

निष्कर्ष 

Bhasha kise kahate hain इसके बारे में आपको आर्टिकल में काफी महत्वपूर्ण जानकारी बताई गयी होगी जिसे पढ़ने के बाद भाषा क्या है, कितने प्रकार की होती है, इसका महत्व क्या है जैसे प्रश्नों के जवाब आपको प्राप्त हो गए होंगे।

उम्मीद करते है यह जानकारी आपके लिए काफी उपयोगी साबित हुई होगी, और अगर आप ऐसे ही उपयोगी आर्टिकल को आगे भी पढ़ना चाहते है तो इसी प्रकार से इस वेबसाइट को आगे भी विजिट कर सकते है। 

धन्यवाद !

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